यूपी में पत्रकारों के लिए आएगी आवासीय योजना, सीएम योगी ने 53 मीडियाकर्मियों के परिजनों को दी 10-10 लाख की सहायता
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पत्रकारों की कर्तव्यपरायणता, साहस और सामाजिक योगदान को नमन किया है। कोरोना संक्रमित होकर दिवंगत हुए पत्रकारों के परिजनों को ₹10-10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता राशि प्रदान करते हुए मुख्यमंत्री ने कोविड काल में दिवंगत लोगों के परिजनों को हर जरूरी मदद का संकल्प दोहराया। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना काल की विपरीत परिस्थितियों के बीच भी पत्रकारों ने जिस प्रकार समाज को जागरूक किया और व्यवस्था की कमियों को सकारात्मक भाव के साथ प्रकट किया, वह सराहनीय है।
रविार को सुशासन दिवस के मौके पर मुख्यमंत्री आवास पर आयोजित भावपूर्ण कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने कोरोना काल में दिवंगत 53 पत्रकारों के परिजनों को ₹5.30 करोड़ रुपये की सहायता राशि प्रदान की। इससे पहले पिछले वर्ष जुलाई में 50 पत्रकारों के परिजनों को भी 10-10 लाख रुपये की सहायता दी गई थी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना के बीच प्रदेश में 103 पत्रकारों का कोरोना संक्रमण से असमय निधन हो गया था। राज्य सरकार हर परिवार के साथ खड़ी है। संबल के रूप में आज हर परिवार को ₹10 लाख रुपये की सहायता राशि दी जा रही है। निराश्रित महिलाओं को नियमानुसार पेंशन, निराश्रित बच्चों को मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना और पीएम केयर योजना के तहत अन्य सहायता भी उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने कहा कि इन योजनाओं का लाभ पत्रकारों के परिजनों को मिले सूचना विभाग इसे सुनिश्चित करे।
पत्रकारों के परिजनों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पत्रकार और सरकार दोनों के रास्ते भले ही अलग क्यों न हों, लक्ष्य एक ही है। दोनों राष्ट्रमंगल और लोककल्याण का लक्ष्य लेकर काम करते हैं। न्यूनतम संसाधन और विपरीत परिस्थितियों के बीच भी लक्ष्य के सापेक्ष उनका कार्य सतत जारी रहता है। सरकार सभी पत्रकारों को आवासीय सुविधा प्रदान करना चाहती है। गोरखपुर में एक मॉडल पर कार्य किया जा रहा है। यदि वह सफल रहा तो बहुत जल्द प्रदेश के सभी नगरों-महानगरों के पत्रकारों के लिए आवासीय योजना लाई जाएगी।
उन्होंने इस बारे में नीति और पात्रता आदि तय करने के लिए सम्पादकगणों की समिति गठित करने के भी निर्देश दिए। कोरोना काल की चुनौतियों की चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि बीते तीन वर्ष से पूरी दुनिया सदी की सबसे बड़ी त्रासदी का सामना कर रही है। तमाम विकसित देश भी इसके आगे पस्त हो गए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पूरे देश ने जिस तरह टीम के रूप में अनुशासन के साथ कोरोना का सामना किया, उसका परिणाम है कि आज यूएनओ, डब्ल्यूएचओ सहित अनेक विकसित देश भी भारत के कोविड प्रबंधन की सराहना कर रहे हैं।