जिस बोतल में रखा होता है फेविकोल, उसमें क्यों नहीं चिपकता? जानें वजह
बचपन में आर्ट और क्राफ्ट का काम करते वक्त फेविकोल तो हम सबने इस्तेमाल किया होगा. आज भी चीजों को चिपकाने के लिए हम फेविकोल या ग्लू का इस्तेमाल करते हैं. बोतल में भरा सफेद फेविकोल बहुत आसानी से चीजों को चिपका देता है. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि जिस बोतल में यह भरा होता है, उस बोतल की दीवारों में क्यों नहीं चिपकता?
इसका जवाब जानने से पहले हमें ये समझना चाहिए कि आखिर फेविकोल या ग्लू होता क्या है. ग्लू असल में केमिकल्स से बना होता है जिसे पॉलिमर्स कहा जाता है. पॉलिमर्स लंबे स्ट्रैंड होते हैं जो या तो चिपचिपे होते हैं या खिंचने वाले होते हैं. ग्लू बनाने के लिए ऐसे पॉलिमर्स का इस्तेमाल होता है जो चिपचिपे भी हों और खिंचने वाले भी. इसके बाद ऐसे पॉलिमर्स में पानी मिलाया जाता है. पानी की वजह से ग्लू लिक्विड स्टेट में आ जाता है. पानी ग्लू में सॉल्वेंट की तरह काम करता है, जो ग्लू को सूखने नहीं देता है. इस वजह से ही ग्लू लिक्विड स्टेट में होता है.
ग्लू को जब बोतल से बाहर निकाला जाता है तो हवा के संपर्क में आने से ग्लू का पानी भाप बनकर उड़ जाता है और उसमें सिर्फ पॉलिमर बचता है. ग्लू से पानी गायब होने के बाद पॉलिमर वापस चिपचिपा और खिंचने वाला हो जाता है. इस तरह ग्लू चीजों को आपस में चिपकाता है.
दरअसल, ग्लू की बोतल बंद रहती है. बंद बोतल में हवा नहीं पहुंचती है. इसी के चलते पॉलिमर्स में मौजूद पानी सूखता नहीं है और ग्लू लिक्विड स्टेट में ही रहता है. आपने कभी ध्यान दिया होगा तो इस बात पर गौर किया होगा कि कैसे अगर ग्लू की बोतल खुली रह जाए तो उसके अंदर मौजूद सारा ग्लू सूख जाता है. ऐसा इसलिए होता है क्योंकि बोतल का ढक्कन खुले रहने पर ग्लू हवा के संपर्क में आता है.