लाइफस्टाइलसेहत

इस उम्र के बाद कम होने लगती है पुरुषों की फर्टिलिटी

नई दिल्ली : स्पर्म पर हुए एक शोध के मुताबिक, 40 साल की उम्र के बाद पुरुषों की फर्टिलिटी का स्तर घटने लगता है. खराब जीवनशैली का असर पुरुषों के स्पर्म की गुणवत्ता पर भी हो रहा है. इसे लेकर एक वर्ल्ड लीडिंग IVF क्लीनिक ने करीब 40 हजार से ज्यादा स्पर्म टेस्ट का विश्लेषण किया है. इस अध्ययन से वैज्ञानिकों को समझ आया कि इंसान की उम्र बढ़ने के साथ-साथ उसकी स्पर्म क्वालिटी में गिरावट आने लगती है.

जेनेवा के फर्टिलिटी एक्सपर्ट डॉ. शेरिल फुआ का कहना है कि इस मामले में 55 साल से ज्यादा उम्र के लोगों की स्थिति ज्यादा कमजोर होती है. डॉ. फुआ ने बताया कि फर्टिलिटी से जुड़ी समस्या होने पर ही कई बार कपल्स को बच्चा कंसीव करने में मुश्किल होती है और कुछ परिस्थितियों में तो मिसकैरेज (गर्भपात) भी हो जाता है.

फर्टिलिटी एक्सपर्ट ने बताया कि जेनेवा में अक्सर महिलाएं ऐसी समस्याओं के साथ आगे आती हैं. लेकिन स्टडी में पाया गया कि 40 फीसद से ज्यादा इनफर्टिलिटी के मामले मेल रीप्रोडक्शन यानी पुरुषों से जुड़े हैं, जिनके बारे में अक्सर ठीक से नहीं बताया जाता है.

एक्सपर्ट ने आगे कहा, ‘हमने लोगों की स्पर्म क्वालिटी में महत्वपूर्ण गिरावट को नोटिस किया है. ये समस्या डीएनए के वास्तविक नुकसान और जेनेटेकि इनफॉर्मेशन (genetic information) के पैकेज से जुड़ी है जिसे स्पर्म रोककर रखता है.’

दो बच्चों के पिता डेविड हॉज इस बारे में कहते हैं कि जब उन्हें पुरुषों में इनफर्टिलिटी के हाई पर्सेंटेज के बारे में पता चला तो वह हैरान रह गए, क्योंकि इस विषय पर लोग खुलकर सामने बात करने से घबराते हैं.

डेविड हॉज और उनकी पत्नी सारा ने स्पर्म टेस्ट से पहले तीन साल तक बच्चा कंसीव करने की कोशिश की. डेविड ने बताया कि उन्होंने बच्चे के लिए IVF(इन विट्रो फर्टिलाइजेशन) तकनीक का सहारा लिया. डेविड और सारा के पास अब एमी और लइला नाम की दो बेटियां हैं.

ऑस्ट्रेलिया के विएना में ‘यूरोपियन सोसाइटी ऑफ ह्यूमन रिप्रोडक्शन एंड एम्ब्रियोलॉजी’ की बैठक में एक पिछले प्रकाशित अध्ययन में पाया गया कि 50 साल की आयु तक पहुंचने के बाद पुरुष प्रजनन (मेल फर्टिलिटी) की क्षमता काफी हद तक कम हो जाती है.

स्टडी के मुताबिक, महिलाएं औसतन 51 साल की उम्र में मेनोपॉज का सामना करती हैं. वैज्ञानिकों ने विश्लेषण के आधार पर बताया कि पुरुष भी उम्र के इस पड़ाव पर समान रूप से इनफर्टिलिटी का सामना करते हैं.

शोधकर्ताओं (researchers) ने बताया कि उन्होंने IVF तकनीक के सहारे बच्चा पैदा करने वाले करीब 4,200 पुरुषों को ट्रैक किया है. इस दौरान वैज्ञानिकों ने उस उम्र की पहचान की जहां लोग मेनोपॉज का सामना करते हैं.

वैज्ञानिकों ने बताया कि 35 वर्षीय किसी इंसान के मुकाबले 51 साल या इससे ज्यादा उम्र के लोगों में बच्चा कंसीव करने की संभावना लगभग 34 प्रतिशत तक कम होती है.

नोट: अगर आपको यह खबर पसंद आई तो इसे शेयर करना न भूलें, देश-विदेश से जुड़ी ताजा अपडेट पाने के लिए कृपया The Lucknow Tribune के  Facebook  पेज को Like व Twitter पर Follow करना न भूलें... -------------------------