एसआरएमएस रिद्धिमा में भरतनाट्यम और कथक की जुगलबंदी। गुरुओं ने नृत्यांजलि के जरिये देवी को समर्पित की अपनी प्रस्तुति
बरेली,16 दिसम्बर। श्रीराम मूर्ति स्मारक रिद्धिमा में कल देश की प्राचीन नृत्य शैली भरतनाट्यम और कथक के गुरुओं ने नृत्यांजलि में अपनी एकल प्रस्तुतियां दीं। नृत्यांजलि का शुभारंभ कथक गुरु अंशू शर्मा ने कथक तर्पण पायलिया से किया। भरतनाट्यम गुरु रोबिन ए ने अपनी प्रस्तुति से हृदय संदेश दिया। कथक गुरु देवाज्योति नस्कर ने अलबेला सजन आयो रे पर अपनी कला का प्रदर्शन किया। भरतनाट्यम गुरु तनय भट्टाचार्य ने फिल्म उमराव जान के गीत दिल चीज क्या है पर अपनी प्रस्तुति दी। कथक गुरु रियाश्री चटर्जी की श्रृंगार प्रदर्शन पर प्रस्तुति से कार्यक्रम का समापन हुआ। कथक और भरतनाट्यम गुरुओं ने दोनों विधाओं की प्रस्तुति से दर्शकों को हैरान कर दिया। नृत्यांजलि में गायन गुरु स्नेह आशीष दुबे और प्रियंका ग्वाल ने भी अपने स्वर देकर उपस्थिति दर्ज कराई। उमेश मिश्र (सारंगी), सूर्यकांत चौधरी (वायलिन), सुमन बिस्वास (तबला), सूरज पांडे (बांसुरी), हिमांश चंद्रा (गिटार व ड्रम) और टुकमनी सेन (कीबोर्ड) ने भी अपने वाद्ययंत्रों के साथ नृत्यांजलि में सहयोग किया। इस मौके पर एसआरएमएस ट्रस्ट के संस्थापक व चेयरमैन देव मूर्ति जी, आशा मूर्ति जी, आदित्य मूर्ति, उषा गुप्ता, डा.प्रभाकर गुप्ता, डा. अनुज कुमार, डा. रीटा शर्मा सहित शहर के गणमान्य लोग मौजूद रहे। बरेली से अखिलेश चन्द्र सक्सेना की रिपोर्ट