विदेश

‘कोरे कागज’ से क्यों डरी चीनी सरकार, क्या जिनपिंग के पतन का कारण बनेगी ब्लैंक शीट? जानें वजह

बीजिंग. चीन की ‘जीरो कोविड पॉलिसी’ और सरकार के खिलाफ लोगों का गुस्सा तेज होता जा रहा है। प्रदर्शनकारी बीजिंग, शंघाई और वुहान जैसे बड़े शहरों की सड़कों पर उतर चुके हैं। इस विरोध प्रदर्शन के बीच एक खास चीज ने लोगों का ध्यान खींचा है। वह है- ‘कोरा कागज।’

यह कोरा कागज चीन के कई शहरों में हो रहे प्रदर्शन का मुख्य प्रतीक बन चुका है। हजारों लोग हाथों में एक ब्लैंक कागज के टुकड़े को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं। आइए जानतें हैं कि एक कोरे कागज से क्यों डर रही जिनपिंग सरकार? प्रदर्शनकारियों ने कैसे ढूंढा यह अनोखा तरीका? और क्या है वजह….

बीते दिनों चीन के शिनजियांग की राजधानी उरुमकी में 21 मंजिला इमारत में आग लग गई थी। इस हादसे में 10 लोग जिंदा जल गए और नौ घायल हुए। जिस समय यह हादसा हुआ उरुमकी में कोरोना संक्रमण के कारण लॉकडाउन लगा हुआ था। लोगों का आरोप है कि सख्त लॉकडाउन के कारण यहां राहत कार्य पहुंचाने में देरी हुई, जिस कारण इतना बड़ा हादसा हुआ। इससे गुस्साए लोग सड़क पर उतर आए और ‘जीरो कोविड पॉलिसी’ और जिनपिंग सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने लगे। देखते ही देखते शिनजियांग से शुरू हुआ यह प्रदर्शन बीजिंग, शंघाई, वुहान, चेंगदू और शियान पहुंच गया।

चीन के कई शहरों में शुरू हुए सरकार विरोधी प्रदर्शनों में एक बात सामान्य है। वह है कि लोग कोरा कागज लेकर सड़क पर उतर रहे हैं और इसे लहराते हुए राष्ट्रपति जिनपिंग के इस्तीफे की मांग कर रहे हैं। देखते ही देखते कोरे कागज का टुकड़ा सरकार विरोधी प्रदर्शन का प्रतीक बन चुका है। बीजिंग के सिंघुआ विश्वविद्यालय के छात्र हों या शंघाई की सड़कों पर उतरे लोग सभी के हाथ में कोरे कागज का टुकड़ा है।

चीन में इस तरह के प्रदर्शन की जड़ें हांगकांग में 2020 में हुए प्रदर्शन से जुड़ी हुई हैं। तब हांगकांग के स्थानीय लोगों ने कठोर नए राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के खिलाफ कोरे कागज के टुकड़े लहराए थे। दरअसल, यहां की सरकार ने 2019 में विरोध प्रदर्शनों से जुड़े नारों पर प्रतिबंध लगा दिया था, जिसके कारण विरोध में ब्लैंक शीट लहराई गईं थीं।

चीन में इस तरह के प्रदर्शन के बारे में लोगों का कहना है कि इस तरह का प्रदर्शन, प्रशासन के सामने एक चुनौती भी है कि क्या उन्हें कुछ भी न कहने के लिए गिरफ्तार किया जा रहा है? इसी तरह शंघाई के प्रदर्शनों में शामिल एक महिला का कहना है कि निश्चित रूप से कागज पर पर कुछ भी नहीं लिखा है, लेकिन हम जानते हैं उस पर क्या लिखा है।

चीन के सरकार विरोधी प्रदर्शनों की कई वीडियो सामने आई हैं। इनमें पुलिस अधिकारी प्रदर्शनकारियों को सरकार के खिलाफ नारे लगाने के लिए मना कर रहे हैं। ऐसे में एक प्रदर्शनकारी का कहना है कि कोरा कागज इस बात का प्रतीक है कि हम बहुत कुछ कहना चाहते हैं, लेकिन कह नहीं सकते।

नोट: अगर आपको यह खबर पसंद आई तो इसे शेयर करना न भूलें, देश-विदेश से जुड़ी ताजा अपडेट पाने के लिए कृपया The Lucknow Tribune के  Facebook  पेज को Like व Twitter पर Follow करना न भूलें... -------------------------