उत्तर प्रदेश

प्रो0 के. पी. सिंह ने रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय में कुलपति के रूप में दूसरे कार्यकाल कार्यभार ग्रहण किया


बरेली ,23 अगस्त। माननीय कुलपति प्रोफेसर के पी सिंह द्वारा कल महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय बरेली में कुलपति के रूप में दूसरे कार्यकाल का कार्यभार ग्रहण किया गया। कार्यभार ग्रहण करने के उपरांत उन्होंने लखनऊ ट्रिब्यून के साथ विशेष वार्ता में अपने दूसरे कार्यकाल के संचालन में प्रमुख बिंदुओं पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय को राष्ट्रीय स्तर पर उसकी पहचान दिलाना उनकी पहली प्राथमिकता होगी । इस अवसर पर विश्वविद्यालय के शिक्षकों , कर्मचारियों एवं अधिकारियों द्वारा उनका खूब गर्मजोशी से स्वागत किया गया । आपके नेतृत्व में ही महात्मा ज्योतिबा फुले रुहेलखण्ड विश्वविद्यालय, बरेली को राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद NAAC द्वारा A++ श्रेणी हाल ही में प्रदान की गयी है। आपने अपनी दूरदर्शिता, शैक्षणिक उत्कृष्ठता एवं कार्य व्यवस्था की गुणवत्ता से विश्वविद्यालय में नए प्रतिमान गढ़े है। रोहिलखंड विश्वविद्यालय, बरेली प्रदेश का पहला विश्वविद्यालय है जिसने रूहेलखंड इनक्यूबेशन फॉउन्डेशन का अपना अलग से नया भवन निर्माण कर सभी सुविधाएं नवाचार – स्टार्टअप के लिए विद्यार्थियों को प्रोत्साहित किया है।

प्रो के पी सिंह इसके पूर्व चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति रहें है एवं हरियाणा राज्य बागवानी विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलपति का अतिरिक्त प्रभार रहा है। आपको चौधरी चरण सिंह कृषि विश्वविद्यालय हिसार (हरियाणा) का 47 वर्ष की उम्र में कुलपति बनने का गौरव प्राप्त हुवा है। आप गोबिन्द बल्लभ पंत कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय पंतनगर में बायो फिजिक्स विभाग के विभागाध्यक्ष रहें है और नैनीताल की प्रतिष्ठित शैक्षणिक संस्थान पार्वती प्रेमा जगाती सरस्वती विहार के प्रबंध समिति के अध्यक्ष है।

आप मूलतः उत्तर प्रदेश बागपत जिले के कनेरा गांव के रहने वाले है। आपकी प्राथमिक शिक्षा श्रीनगर गढ़वाल से हुई और पीएचडी की उपाधि अलीगढ मुस्लिम विश्वविद्यालय से प्राप्त की। बायोफिज़िक्स और नैनोटेक्नोलॉजी में महारत हासिल डॉ सिंह जैव प्रौद्योगिकी परिषद उत्तराखंड के निदेशक भी रह चुके है। आप स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी, हावर्ड यूनिवर्सिटी युएसए, नेशनल कैंसर इंस्टिट्यूट फ्रेडरिक, क्रेनफील्ड यूनिवर्सिटी, टेक्निकल यूनिवर्सिटी यूरोप के विजिटिंग प्रोफ़ेसर रहने साथ ही दर्जन से ज्यादा विश्वविद्यालयों के प्रोफेशनल बॉडी के सदस्य है। पचपन से ज्यादा मास्टर और पीएचडी थीसिस का पर्यवेक्षण करने वाले डॉ सिंह दो पेटेंट, एक दर्जन से ज्यादा पुस्तकों का लेखन, पैसठ से ज्यादा बुक चेप्टर और डेढ़ सौ से ज्यादा अंतर्राष्ट्रीय -राष्ट्रीय संगोष्ठियों में अपना शोध पत्र प्रस्तुत कर एक दर्जन ज्यादा राष्ट्रीय -अंतर्राष्ट्रीय स्तर के सम्मान से सम्मानित किये जा चुके है।

बरेली से अखिलेश चन्द्र सक्सेना की रिपोर्ट

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