मण्डलायुक्त की अध्यक्षता में बच्चों से जुड़ी प्राथमिकताओं एवं उपलब्धियों पर मण्डल स्तरीय संगोष्ठी का हुआ आयोजन
बरेली, 28 नवम्बर। मण्डलायुक्त सौम्या अग्रवाल की अध्यक्षता में कल बच्चों से जुड़ी प्राथमिकताओं एवं उपलब्धियों पर एक मण्डल स्तरीय संगोष्ठी का आयोजन मंडलायुक्त कार्यालय में सम्पन्न हुआ। यह संगोष्ठी संयुक्त राष्ट्र बाल अधिकार समझौते (यूएनसीआरसी) के 35 वर्ष और यूनिसेफ के भारत में 75 वर्ष पूरे होने पूरे होने के उपलक्ष्य में आयोजित की गई।
संगोष्ठी का उद्देश्य बच्चों के सर्वांगीण और समावेशी विकास से संबंधित चुनौतियों एवं प्राथमिकताओं की पहचान करना एवं लिंग और समानता जैसे विषयों पर ध्यान केंद्रित करते हुए अंतिम छोर के बच्चों के लिए परिणामों में तेजी लाने के लिए सभी हितधारकों की प्रतिबद्धता सुनिश्चित करना था।
मंडलायुक्त ने यूनिसेफ के भारत में 75 वर्ष योगदान के लिए बधाई देते हुए कहा कि “यूनिसेफ द्वारा सतत रूप से बच्चों से संबंधित कार्यक्रमों एवं योजनाओं के सफल क्रियान्वयन हेतु स्पष्ट एवं विश्वसनीय फीडबैक दिया जाता है, जिससे प्रशासन को निर्णय लेने में सहायता होती है, यूनिसेफ एवं सम्बंधित विभाग आगे भी सक्रिय सहभागिता के साथ बच्चों के अधिकारों एवं सुरक्षा के हित में कार्य करते रहें।
यूनिसेफ उत्तर प्रदेश से कुमार विक्रम, जल एवं स्वच्छता अधिकारी द्वारा कहा गया कि “यूनिसेफ उत्तर प्रदेश में सरकार व सभी हितधारकों के साथ मिलकर बच्चों के स्वास्थ्य, शिक्षा, सुरक्षा एवं सहभागिता के अधिकारों को सुनिश्चित करने के लिए निरंतर प्रयासरत है। ‘हर बच्चे को हर अधिकार’ की परिकल्पना सबके सम्मिलित और सार्थक प्रयासों से हो संभव है और इसलिए मंडलायुक्त एवं मण्डल के जनपदों के जिलाधिकारी का प्रभावी नेतृत्व और सतत समीक्षा अत्यंत आवश्यक और सराहनीय है। “बरेली मण्डल में बच्चों से जुड़े आँकड़े एवं उपलब्धियां साझा करते हुए कहा, “मण्डल में 76.9 लाख बच्चे हैं जोकि मण्डल की लगभग 49 प्रतिशत जनसंख्या है। इसमें 47.3 प्रतिशत लड़कियां हैं।“
उन्होंने कहा कि बरेली मण्डल में पूर्ण टीकाकरण की दर 2015-16 में 60 प्रतिशत से 2019-21 में बढ़ कर 77 प्रतिशत हो गई। इसके साथ ही मण्डल में पाँच वर्ष से कम के बच्चों एवं महिलाओं के पोषण स्तर में भी पिछले पाँच वर्षों में सुधार आया है। इसके साथ ही प्रत्येक जिले में जन्म पंजीकरण की दर में भी सुधार हुआ है।
कुमार विक्रम ने मण्डल में महिलाओं एवं बच्चों के लिए सरकार द्वारा किए जा रहे कार्यों की सराहना करते हुए कहा की अभी और भी बहुत कुछ करने को शेष है।
यूनिसेफ ने बच्चों के अधिकारों को सुनिश्चित करने के लिए भारत सरकार के साथ 75 वर्ष की लंबी यात्रा तय की है। यूनिसेफ की महत्वपूर्ण तकनीकी सहायता से भारत में पहले पेनिसिलिन संयंत्र, अमूल के साथ मिल्क रेवोल्यूशन, हैंडपंपों की मार्क श्रृंखला स्थापित करने और देश में जल क्रांति ली गई। इसके अलावा एकीकृत बाल विकास सेवाओं (आईसीडीएस), टीकाकरण पर राष्ट्रीय मिशन, स्वच्छता अभियान, सार्वभौमिक शिक्षा, बाल सुरक्षा से जुड़े व्यापक नीतियों और कार्यक्रमों को शुरू करने में भी मदद की।
सरकार, साझेदारों और अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर काम करते हुए, यूनिसेफ ने भारत से चेचक और पोलियो जैसी बीमारियों को खत्म करने में सहयोग दिया।
यूनिसेफ द्वारा भारत में 75 वर्ष पूरा होने के उपलक्ष में मण्डल स्तरीय बैठकों का आयोजन प्रदेश के सभी 75 जनपदों के अधिकारियों के साथ किया जा रहा है। यह बैठकें बच्चों के प्रति प्रतिबद्धता को संगठित करने, अभिसरण करने और उत्प्रेरित करने के उद्देश्य से आयोजित की जा रही हैं।
संगोष्ठी में जिलाधिकारी बरेली रविन्द्र कुमार, जिलाधिकारी शाहजहांपुर धर्मेन्द्र प्रताप सिंह, जिलाधिकारी पीलीभीत संजय कुमार सिंह, जिलाधिकारी बदायूं निधि श्रीवास्तव, संयुक्त विकास आयुक्त प्रदीप कुमार पांडे, मुख्य विकास अधिकारी बरेली, शाहजहांपुर, पीलीभीत, बदायूं, एडिशनल डायरेक्टर हेल्थ, शिक्षा, स्वास्थ्य, आईसीडीएस, महिला एवं बाल कल्याण, पंचायती राज सहित संबंधित विभाग के अधिकारीगण उपस्थित रहे। बरेली से अखिलेश चन्द्र सक्सेना की रिपोर्ट