इस सब्जी की खेती से किसान हो रहे मालामाल, कीमत 500-800 रुपये प्रति किलो
नई दिल्ली. हर क्षेत्र में तकनीक की मदद से कई तरह के प्रयोग हो रहे हैं. कृषि क्षेत्र भी इस विकास से अछूता नहीं है. देश में किसानों ने अब तकनीक के उपयोग से पारंपरिक खेती के साथ-साथ कई तरह की नई फसलों को उगाने में कामयाबी हासिल की है. हाइब्रिड बीज तैयार करके फसलों की नई किस्में तैयार की जा रही हैं. इससे किसानों का नकदी फसलों की ओर रुझान बढ़ा है. इस तरह के प्रयोगों से सब्जियों की भी नई किस्में तैयार की गई हैं.
हरी भिंडी तो वैसे भी काफ़ी लोकप्रिय है और इसकी खेती भी बड़े पैमाने पर की जाती है. लेकिन अब देश में किसान लाल भिंडी की खेती भी कर रहे हैं. वैज्ञानिकों का मानना है कि लाल भिंडी, हरी भिंडी की तुलना में ज्यादा फायदेमंद है. वहीं बाजार में लाल भिंडी की कीमत भी हरी भिंडी से कई गुना ज्यादा है. इस तरह से यह किसानों के लिए भी फायदे का सौदा है.
लाल भिंडी को विकसित करने में सबसे पहले उत्तर प्रदेश के वाराणसी में भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान ने सफलता हासिल की, इसलिए लाल भिंडी को काशी की लालिमा भी कहा जाता है. अब इसके बीज बाकी जगहों पर भी मिलने लगे हैं. लाल भिंडी की फसल को तैयार होने में 45-50 दिन का समय लगता है. अब इसकी खेती उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात, हरियाणा और दिल्ली में होने
लगी है.
लाल भिंडी की खेती हरी भिंडी की तरह ही होती है. बलुई दोमट मिट्टी इसकी खेती के लिए बेहतर मानी गई है. इसका पीएच मान 6.5-7.5 तक होना जरूरी है. एक साल में लाल भिंडी की दो फसलें ली जा सकती हैं. एक एकड़ में 20 क्विंटल तक इसकी उपज हो सकती है. लाल भिंडी की लंबाई 6-7 इंच तक रहती है. इसकी बुवाई फरवरी-मार्च और जून-जुलाई में कर सकते हैं. लाल भिंडी के पौधों के लिए दिन में 5-6 घंटे की धूप जरूरी है.
लाल भिंडी में एंथोसाइन नामक तत्व पाया जाता है. इसमें फाइबर और आयरन की मात्रा अधिक होती है. इससे शरीर को एनर्जी तो मिलती ही है साथ ही यह इम्युनिटी बढ़ाने में भी सहायक है. लाल रंग की वजह से इसमें एंटीऑक्सीडेंट ज्यादा होता है. वैज्ञानिक इसे पकाकर खाने के बजाए सलाद के रूप में खाने की सलाह देते हैं.
लाल भिंडी की कीमत हरी भिंडी की तुलना में बहुत ज्यादा है. हरी भिंडी हमें 40-50 रुपये प्रति किलो में भी मिल जाती है. वहीं लाल भिंडी 500 रुपये किलो तक आसानी से बिकती है. कभी-कभी इसके दाम 800 रुपये किलो तक भी पहुंच जाते हैं.
आपको बता दें कि एक एकड़ जमीन से करीब 40 से 50 क्विंटल तक लाल भिंडी की फसल ली जा सकती है. इसकी खेती में लागत भी ज्यादा नहीं आती है. ऐसे में लाल भिंडी की खेती काफ़ी फायदेमंद है और इसकी खेती से अच्छी कमाई की जा सकती है.