उत्तर प्रदेश

रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय में सरदार बल्लभ भाई पटेल की जयंती पर कार्यक्रम आयोजित

बरेली , 01 नवंबर। सरदार बल्लभ भाई पटेल जयंती पर एकता दिवस कार्यक्रम विधि विभाग, रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय परिसर में आयोजित किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि माननीय कुलपति प्रोफेसर के पी सिंह रहे एवं कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि अवधेश कुमार पांडे, संयुक्त निदेशक अभियोजन, बरेली थे।

कार्यक्रम का आरंभ सरदार पटेल की प्रतिमा पर माल्यार्पण और मां सरस्वती को पुष्पांजलि देकर किया गया। उक्त क्रम में विधि विभाग के संकायाध्यक्ष एवं विभागाध्यक्ष डॉ अमित सिंह ने अपने विचार प्रस्तुत किए, उन्होंने कहा कि सरदार पटेल जी ने न सिर्फ स्वतंत्रता आंदोलन में महत्वपूर्ण योगदान दिया है बल्कि उन्होंने 565 देसी रियासतों का एकीकरण करके भारत की एकता और अखंडता स्थापित की है। सरदार पटेल एक बहुत अच्छे अधिवक्ता थे उन्होंने अपनी विधि शिक्षा इन्स कोर्ट, लंदन से की थी। 1913 में गोधरा, गुजरात से उन्होंने अपनी प्रैक्टिस शुरू की और 1918 तक वह देश के बहुत प्रसिद्ध अधिवक्ता रहे। 1947 से 1950 तक उन्होंने देश का एकीकरण किया, वह देश के पहले प्रधानमंत्री और गृहमंत्री रहे।

कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि अवधेश कुमार पांडे ने सरदार पटेल के जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि प्रशासनिक सेवा का नवीनीकरण सरदार पटेल जी ने किया। 1928 में बारदौली सत्याग्रह गुजरात में महिलाओं ने उन्हें सरदार की उपाधि प्रदान की जिसका मतलब प्रमुख होता है, उन्हें भारत का बिस्मार्क कहा जाता है।

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि माननीय कुलपति प्रोफेसर केपी सिंह ने विस्तार से भारत के स्वतंत्रता आंदोलन में लोह पुरुष सरदार पटेल की भूमिका पर प्रकाश डाला। उन्होंने यह बताया कि
सरदार पटेल, चंद्रशेखर आजाद, नेताजी सुभाष चंद्र बोस एवं सरदार भगत सिंह जैसे स्वतंत्रता सेनानियों और क्रांतिकारियों के बलिदान की वजह से यह देश एकीकृत हो सका और 70 वर्षों के पश्चात भी भारतीय संघ अविभाजित है जबकि 1950 में बने कई दूसरे परिसंघ कई भागों में विभाजित हो गए। यह सरदार पटेल की दूर दृष्टि रही कि उन्होंने राजस्थान के 25 रियासतें जो कभी एकीकृत नहीं हुई थी उनको एक राज्य में पिरोया। हैदराबाद, जूनागढ़ और कश्मीर जैसी रियासतें जो भारतीय परिसंघ का भाग नहीं बनना चाहती थी उनको भी सरदार पटेल द्वारा अपनी बुद्धि कौशल और विचारों से प्रभावित कर भारतीय संघ का अभिन्न भाग बना लिया गया। वर्तमान नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा वर्ष 2014 में सरदार पटेल की स्मृति में स्टैचू ऑफ यूनिटी की स्थापना की गई है, यह 182 मीटर ऊंची प्रतिमा गुजरात में स्थापित है जो विद्यार्थियों और नौजवानों के लिए एक प्रेरणा का स्रोत है।

इस अवसर पर मुख्य अतिथि प्रोफेसर के पी सिंह द्वारा राष्ट्रीय एकता दिवस की शपथ ग्रहण कराई गई। विधि विभाग द्वारा सरदार पटेल के जीवन से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर एक पोस्टर कंपटीशन का आयोजन किया गया जिसमें विश्वविद्यालय के बहुत से विभाग के छात्रों ने प्रतिभाग किया। तीन विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया गया जिसमें प्रथम पुरस्कार सौम्या यादव छात्र एल एल एम थर्ड सेमेस्टर, दूसरा पुरस्कार दीपशिखा , डिपार्टमेंट ऑफ़ फार्मेसी, तृतीय पुरस्कार मोनिका कुमारी डिपार्टमेंट ऑफ़ एजुकेशन को प्रदान किया गया।

विभाग के कुछ महत्वपूर्ण विद्यार्थियों को इस अवसर पर स्मृति चिन्ह प्रदान किया गया। न्यायिक सेवा में अपने पहले ही प्रयास में सफलता प्राप्त करने वाली छात्रा एल एल एम 2022 बैच की विद्यार्थी प्रिया मिश्रा को स्मृति चिन्ह माननीय कुलपति प्रोफेसर केपी सिंह द्वारा दिया गया। बीए एल एल बी एवं एल एल एम की गोल्ड मेडलिस्ट और नेट पास करने वाली छात्रा अनुष्का मूलचंदानी को स्मृति चिन्ह प्रदान किया गया। इस अवसर पर सामाजिक कार्यकर्ता श्री सीएल प्रजापति को स्मृति चिह्न दिया गया।
कार्यक्रम में संजीव कुमार सिंह,परीक्षा नियंत्रक, डॉ ए के सिंह चीफ प्रॉक्टर, प्रोफेसर तुलिका सक्सेना, डॉ ज्योति पांडे, डा पवन सिंह, डॉ एस बी तिवारी, विधि विभाग के शिक्षक, डॉ अनु शर्मा, डॉक्टर शहनाज अख्तर, डॉ लक्ष्मी देवी, प्रवीण कृष्ण चौहान, अमित कुमार, नईमुद्दीन, डॉ लक्ष्यलता, रवि कर यादव, प्रीति वर्मा, प्रियदर्शनी रावत, राष्ट्र वर्धन आदि उपस्थित रहे।कार्यक्रम का संचालन विधि विभाग में शिक्षक निधि शंकर ने किया।

इस अवसर पर बड़ी संख्या में विधि विभाग के विद्यार्थी, एडवोकेट एवं रिसर्च स्कॉलर उपस्थित रहे। कार्यक्रम की फोटोग्राफी तपन वर्मा द्वारा की गई। कार्यक्रम की समाप्ति वंदे मातरम के गायन से हुई। बरेली से अखिलेश चन्द्र सकसेना की
रिपोर्ट

नोट: अगर आपको यह खबर पसंद आई तो इसे शेयर करना न भूलें, देश-विदेश से जुड़ी ताजा अपडेट पाने के लिए कृपया The Lucknow Tribune के  Facebook  पेज को Like व Twitter पर Follow करना न भूलें... -------------------------
E-Paper