“विशिष्ट और विवेकशील” जेसीबी प्राइज फॉर लिट्रेचर 2024 के निर्णायक मंडल की घोषणा

 

 

जूरी सितंबर 2024 में घोषित होने वाली दस उपन्यासों की लॉन्गलिस्ट का चयन करेंगे, इसके बाद अक्टूबर 2024 में पांच उपन्यासों की शॉर्टलिस्ट का चयन करेंगे

2023 में जेसीबी प्राइज फॉर लिट्रेचर, पेरुमल मुरुगन द्वारा लिखित फायर बर्ड को प्रदान किया गया, जिसका तमिल से अंग्रेजी अनुवाद जननी कन्नन द्वारा किया गया है

जेसीबी प्राइज फॉर लिट्रेचर- जो भारत के सबसे प्रतिष्ठित साहित्यिक पुरस्कारों में से एक है, ने 2024 के लिए अपने निर्णायक मंडल की घोषणा की है। अपनी इस साहित्यक यात्रा के 7वें वर्ष के जेसीबी प्राइज के निर्णायक मंडल के सदस्यों में, श्री जेरी पिंटो, जो एक लेखक, अनुवादक और कवि हैं; सुश्री दीप्ति शशिधरन, जो कला इतिहासकार और क्यूरेटर हैं; श्री शौनक सेन, जो एक फिल्म निर्माता और लेखक हैं; श्री त्रिदीप सुह्रद, जो एक लेखक और अनुवादक हैं; और सुश्री एक्वी थामी, जो एक कुशल कलाकार और शिक्षाविद हैं, शामिल हैं। श्री जेरी पिंटो, 2024 के इस निर्णायक मंडल के अध्यक्ष होंगे।

निर्णायक मंडल के प्रत्येक सदस्य विशिष्ट सांस्कृतिक और बौद्धिक कला रूपों में पारंगत हैं, और विभिन्न भाषाओं और अभिव्यक्ति के प्रकारों में महारत रखते हैं। अपने विविध दृष्टिकोणों के साथ, वे इस वर्ष के भारत के सबसे विशिष्ट उपन्यास की खोज करने की अपनी प्रतिबद्धता के साथ एकजुट हुए हैं। साहित्य के लिए जेसीबी पुरस्कार, जेसीबी लिटरेचर फाउंडेशन द्वारा संचालित तथा जेसीबी इंडिया लिमिटेड द्वारा समर्थित है, जो खुदाई और निर्माण उपकरणों की अग्रणी निर्माता है।

इस वर्ष के निर्णायक मंडल पर अपनी राय व्यक्त करते हुए, दी जेसीबी प्राइज़ फॉर लिटरेचर की साहित्यिक निदेशक मीता कपूर ने कहा, “पिछले छह वर्षों में, दी जेसीबी प्राइज फॉर लिट्रेचर भारत के कोने-कोने के पाठकों और साहित्य उत्साही लोगों से मिला, और जो बात सबसे अधिक उभरी, वह है साहित्य को देशभर में प्राप्त प्यार। अपने सातवें वर्ष में, जेसीबी प्राइज एक बार फिर से उन पुस्तकों को खोजने का प्रयास कर रहा है जो इस बात का सच्चा प्रतिनिधित्व करता है कि भारत आज पढ़ रहा है। इस वर्ष का निर्णायक मंडल अपनी वैचारिक विविधता के साथ उत्कृष्ट लेखन और शानदार कहानियों को खोज कर सम्मानित करने में असीम ऊर्जा और समर्पण ला रहा है।”

2024 निर्णायक मंडल के अध्यक्ष श्री जेरी पिंटो ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि “जेसीबी प्राइज, जो अब भारत में साहित्यिक कैलेंडर का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन गया है, के निर्णायक मंडल की अध्यक्षता करने का अवसर मिलने पर सम्मानित महसूस कर रहा हूं। साल के अधिकांश समय में दिलचस्प लोगों के समूह के साथ विभिन्न पुस्तकों पर चर्चा करने से बेहतर और क्या हो सकता है?

श्री जेरी पिंटो एक कवि, लेखक, संपादक और अनुवादक हैं। आपके उपन्यास ‘एम और द बिग हूम’ ने क्रॉसवर्ड प्राइस, हिंदू लिट फॉर लाइफ अवार्ड, और साहित्य अकादमी पुरस्कार जीते हैं। 2016 में, आपको येल यूनिवर्सिटी, यूएसए द्वारा फिक्शन के लिए विंडहेम-कैंपबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया। आपके दूसरे उपन्यास ‘मर्डर इन माहिम’ ने फिक्शन के लिए वैली ऑफ वर्ड्स पुरस्कार जीता। आपका तीसरा उपन्यास ‘दी एजुकेशन ऑफ युरी’ ने दुनियाभर से प्रसंशा बटोरी हैं।

आपने कई संकलन संपादित किए हैं, जैसे: ‘बॉम्बे मेरी जान: राइटिंगस ऑन मुंबई’; ‘रिफ्लेक्टेड इन वॉटर: राइटिंग्स ऑन गोवा’; ‘द ग्रेटेस्ट शो ऑन अर्थ: राइटिंग्स ऑन बॉलीवुड’ और शांता गोखले के साथ, ‘बॉम्बे-मुंबई, माया नगरी’ कहानी संग्रह। आपने दया पवार के उपन्यास ‘बलुटा’, सचिन कुंडलकर के पहले उपन्यास ‘कोबाल्ट ब्लू’, और मल्लिका अमर शेख के ‘आई वांट टू डिस्ट्रॉय माइसेल्फ’ आदि का अनुवाद किया है। आपने बच्चों के लिए भी अनेक किताबें लिखी हैं। ‘आन्या एंड हर बेबी ब्रदर’ और ‘माय डैडी एंड वेल’ पराग होनर्स सूची में शामिल रहे हैं। जेरी के दो कविता संग्रह हैं, ‘एसाइलम’ और ‘आई वांट ए पोएम एंड अदर पोएम्स’। आप मेलजोल, जो बच्चों के अधिकारों के क्षेत्र में काम करती है, और पीपलस फ्री रीडिंग रूम एंड लाईब्रेरी’ के बोर्ड में शामिल रहे हैं। आपने तीस सालों से अधिक…

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