एनसीडब्लयू ने भेजा नोटिस, ‘फ्री कंडोम’ विवाद में फंसीं महिला आईएएस अफसर, जाने पूरा मामला

पटना. सेनिटरी पैड, फ्री कंडोम और पाकिस्तान जैसी बातें छात्राओं से कहकर बिहार की आईएएस हरजोत कौर चर्चा में तो आ गईं, मगर जैसे ही उनका यह बयान सोशल मीडिया में वायरल हुआ उनकी काफी फजीहत हो गई. यूजर्स ने महिला अफसर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की तो सीएम नीतीश कुमार ने कार्रवाई की बात सार्वजनिक तौर पर कह दी. सीएम के सख्त लहजे को देख हरजोत कौर ने इस मामले पर सफाई देते हुए माफी मांग ली है. हालांकि मामला अभी ठंडा नहीं पड़ा है.

दरअसल, हरजोत कौर ने इस पूरे घटनाक्रम के लिए माफी तो मांगी है, अब उनके खिलाफ राष्ट्रीय महिला आयोग ने मामले का संज्ञान लेकर उनसे सात दिन में स्पष्टीकरण मांगा है. संतोषजनक जवाब न मिलने पर उनके खिलाफ आगे की कार्रवाई हो सकती है. बता दें कि बिहार महिला विकास निगम की प्रबंध निदेशक और आईएएस अधिकारी हरजोत कौर भामरा का एक वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हुआ था जिसमें एक स्कूल में छात्रा के सवाल पर उन्होंने विवादित जवाब दिया था.

वायरल वीडियो में साफ दिख रहा है कि छात्रा ने पूछा था कि क्या सरकार हमें 20-30 रुपये के सैनिटरी पैड नहीं दे सकती? इस सवाल पर आईएएस अधिकारी हरजोत कौर ने कहा कि मांगों का कोई अंत नहीं है. आप कल कहेंगे कि सरकार जींस और अच्छे जूते उपलब्ध करा सकती है. कल को जींस-पैंट मांगोगी, परसों को सुंदर जूते और अंत में परिवार नियोजन की बात आएगी तो निरोध (कंडोम) भी फ्री में ही देना पड़ेगा.

हरजोत कौर ने आगे कहा, सरकार से लेने की जरूरत क्या है? अपने आप को इतना संपन्न करो कि सरकार से कुछ लेने की जरूरत ही न पड़े. आईएएस अधिकारी के जवाब पर एक छात्रा ने कहा कि लोगों के वोट से सरकार बनती है, तो महिला अफसर ने कहा, यह मूर्खता की पराकाष्ठा है. वोट मत करो, पाकिस्तान चले जाओ.

हरजोत कौर और इस छात्रा के बीच की इस बातचीत का वीडियो वायरल हुआ तो बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी मामले का संज्ञान लेते हुए गुरुवार को कहा, आज सुबह हमें इस बारे में जानकारी मिली कि IAS हरजोत कौर ने ऐसा कुछ बोल दिया है, जिससे महिलाओं को बुरा लगा है. मैंने मामले की पूरी जानकारी ली है. हम सभी चीजों को देख रहे हैं. अगर कुछ भी गलत होगा तो कार्रवाई की जाएगी.

सीएम नीतीश कुमार की प्रतिक्रिया के बाद हरजोत कौर का बयान भी सामने आ गया. यहां उन्होंने दो पेज के स्पष्टीकरण में कहा कि उनका उद्देश्य छात्रा को भावनात्मक या मानसिक रूप से परेशान करना नहीं और न ही अपमानित करना था. उन्होंने स्पष्टीकरण में लिखा कि अगर किसी को भी ठेस पहुंची है तो वो इसके लिए माफी मांगती हैं.

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