भारत जोड़ो यात्रा :अब महाकाल लोक भी जाएंगे राहुल गांधी,दलित और आदिवासियों पर भी नजर

भोपाल: मध्यप्रदेश में 2023 में विधानसभा चुनाव (MP assembly elections 2023) होने हैं। चुनाव को देखते हुए बीजेपी और कांग्रेस अपनी अलग-अलग रणनीतियों पर काम कर रही हैं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (PM Modi) और गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) के हाल के एमपी दौरों को चुनाव से जोड़कर देखा गया है। अब कांग्रेस ने भी अपनी रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है। सूत्रों के अनुसार, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा (bharat Jodo Yatra) को मध्यप्रदेश में बदलाव किया जा रहा है। पहले जिन जिलों का यात्रा के रूट में शामिल किया गया है अब उसमें बदलाव की तैयारी चल रही है। दरअसल, हाल ही में बीजेपी ने बाबा महाकाल की नगरी में महाकाल लोक का शुभारंभ कर उसे चुनाव में भुनाने की तैयारी में जुटी हुई है अब कांग्रेस भी इसमें अपना सियासी फायदा देखते हुए राहुल की यात्रा में इस रूट को जोड़ने का प्लान बना रही है।

महाकाल मंदिर जा सकते हैं राहुल गांधी
विधानसभा चुनाव और लोकसभा चुनाव 2024 की तैयारियों को लेकर बीजेपी अपने हिन्दुत्व की छवि के साथ आगे बढ़ रही है। सूत्रों के अनुसार, राहुल गांधी की यात्रा में पहले महाकाल मंदिर जाने का कोई प्लान नहीं था लेकिन अब नए प्लान के अनुसार राहुल बाबा महाकाल के दर्शन कर सकते हैं। इसके साथ ही साधु-संतों से भी मुलाकात कर सकते हैं। इसके लिए पीसीसी चीफ कमलनाथ ने अलग-अलग नेताओं को जिम्मेदारी दी है।

देशभर को एक साथ जोडऩे के लिए भारत जोड़ो यात्रा कर रहे कांग्रेस के राष्ट्रीय नेता राहुल गांधी की मप्र में केवल एक ही सभा उज्जैन में है। हालांकि अभी उनके उज्जैन आने की तारीख तय नहीं है, लेकिन 2 से 5 नवंबर के बीच इसका पता चल जाएगा। इसके साथ ही 30 अक्टूबर तक यह भी तय हो जाएगा कि वे इंदौर से उज्जैन आते समय कहां, कितनी देर ठहरेंगे और रात्रि विश्राम कहां करेंगे।

बता दें कि अब तक इंदौर से उज्जैन आने के दौरान उनका सांवेर में रात्रि विश्राम होगा, जबकि अगले दिन सुबह वहां से पैदल यात्रा के दौरान बीच में कहीं एक स्थान पर थोड़ा आराम करेंगे। तराना विधायक महेश परमार ने बताया कि मप्र में पूरी यात्रा की तैयारियों पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ की निगरानी में हो रही है। अब तक तय किए गए रूट को 30 अक्टूबर तक अंतिम रूप दे दिया जाएगा, जबकि 2 से 5 नवंबर तक यह भी तय हो जाएगा कि किस तारीख को राहुल गांधी उज्जैन में आएंगे।

आदिवासी वोटर्स पर फोकस
2018 के विधानसभा चुनाव में मध्यप्रदेश के आदिवासी वोटर्स ने कांग्रेस का साथ दिया था। राज्य में आदिवासी वोटर्स को विनिंग फैक्टर माना जाता है। आदिवासी वोटर्स को देखते हुए राहुल गांधी बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की जन्मस्थली महू भी जा सकते हैं। उज्जैन में बाबा महाकाल के दर्शन कर राहुल गांधी हिन्दू वोटर्स को साधने की कोशिश करेंगे तो वहीं, महू जाकर और दलित-आदिवासी वोटर्स पर फोकस कर सकते हैं।

10 नेताओं को रूट फाइनल करने की जिम्मेदारी
राहुल गांधी की यात्रा 20 नवंबर को मध्यप्रदेश के बुरहानपुर पहुंचेगी। कमलनाथ ने राहुल गांधी की यात्रा को फाइनल करने के लिए 10 नेताओं को जिम्मेदारी दी है। बता दें कि फाइन रूट का चार्ट अभी जारी नहीं किया गया है। मध्यप्रदेश में यात्रा के प्रभारी पीसी शर्मा के साथ पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा, जीतू पटवारी, अरुण यादव, बाला बच्चन समेत करीब 10 नेता पूरे रूट दौरा करने के बाद फाइनल चार्ट जारी करेंगे।

16 दिन एमपी में रहेंगे राहुल गांधी
भारत जोड़ो यात्रा के लिए राहुल गांधी 16 दिन तक मध्यप्रदेश में रहेंगे। इस दौरान वो अपनी यात्रा में करीब मालवा क्षेत्र की करीब 25 विधानसभा सीटों को कवर करेंगे। अभी राहुल गांधी की यात्रा में सात जिले शामिल थे। मालवा-निमाड़ अंचल के बुरहानपुर, झाबुआ, अलीराजपुर, बड़वानी, खरगोन और धार जिले के आदिवासी क्षेत्रों को शामिल किया गया था। यह यात्रा प्रदेश के मालवा-निमाड़ के सात जिलों से गुजरने वाली थी।

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