राज्य

उत्तराखंड में लगातार बढ़ रही है जंगल में आग की घटना

देहरादून: पर्यावरण के संरक्षण की दिशा में 22 अप्रैल को जहां Earth Day मनाया जा रहा है, वहीं उत्तराखंड के जंगल लगातार जल रहे हैं। गर्मी का मौसम शुरू होते ही पहाड़ी राज्य में जंगलों की आग भड़कने लगी है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक प्रदेश में 15 फरवरी से अभी तक 300 से अधिक घटनाएं जंगल में आग लगने की हो चुकी हैं। फॉरेस्ट सर्वे ऑफ इंडिया के डेटा के मुताबिक पिछले साल में इसी समयसीमा के दौरान जंगल में आग लगने की 85 घटनाएं सामने आई थी। आग लगने की घटना में 300 प्रतिशत का इजाफा हुआ है।

उत्तराखंड में अपर प्रमुख वन संरक्षक और वन में आग के नोडल ऑफिसर निशांत वर्मा ने बताया कि तापमान में बढ़ोत्तरी और सूखा पड़ने की वजह से जंगल में आग लगने की घटना में तेजी आई है। कृषि अपशिष्ट का जलाया जाना भी एक अहम वजह है। समीक्षा बैठक में अधिकारियों को अलर्ट मोड पर रहने का निर्देश दिया गया है। सुरक्षा बरतते हुए ग्रामीणों को भी जागरूक रखने का अभियान चलाया जा रहा है।

उत्तराखंड में 38 हजार स्क्वैयर किलोमीटर का फॉरेस्ट एरिया है। यह राज्य के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 71 फीसदी हिस्सा है। अधिकारियों के अनुसार जंगल के पास इंसानों की बढ़ती बसावट की वजह से भी आग की घटनाएं अधिक हुई हैं। आग की घटनाओं से वन्यजीव और बायोडायवर्सिटी पर भी बुरा असर पड़ रहा है। अभी हाल में ही देवप्रयाग पौड़ी रोड पर भी जंगल में आग लग गई।

पूरे उत्तराखंड में जगलों में आग लगने की घटनाओं में दिनों-दिन इजाफा हो रहा है। निशांत वर्मा के मुताबिक, राज्य में 18 अप्रैल तक ऐसी आग लगने की 341 घटनाएं हो चुकी हैं। इससे 387 हेक्टेयर से ज्यादा वन क्षेत्र प्रभावित हुआ है। आग की बढ़ती घटनाओं को देखते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को मुख्यमंत्री आवास में प्रभागीय वन अधिकारियों के साथ इन घटनाओं की रोकथाम के संबंध में वर्चुअल बैठक की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जैसे ही आग लगने की सूचना मिले तो उस पर कम से कम समय में ऐक्शन होना चाहिए। मुख्यमंत्री ने वनाधिकारी के स्तर पर नोडल अधिकारी नामित करने को भी कहा। जंगल की आग रोकने के लिए हेल्पलाइन नंबर और टोल फ्री नंबर जारी करते हुए उनका व्यापक प्रचार-प्रसार करने की भी जरूरत पर भी जोर दिया। यह भी कहा कि स्थानीय लोगों, जन-प्रतिनिधियों, ग्राम प्रधानों की भी मदद लें। जिस क्षेत्र में भी आग लगने की घटनाएं हों उस क्षेत्र के अधिकारी की जिम्मेदारी तय हो।

अल्मोड़ा में लोकसभा चुनाव के लिए बनाए गए स्ट्रॉन्ग रूम के पास के जंगल में लगी आग ने विकराल रूप लेते हुए वहां लगे जनरेटर को अपनी चपेट में ले लिया। दमकल टीम ने मुश्किल से आग पर काबू पाया। अल्मोड़ा के फलसीमा ITI के पास जंगल में आग शुक्रवार की सुबह से ही लगी हुई थी। ITI में ही यह स्ट्रॉन्ग रूम बना हुआ है।

नोट: अगर आपको यह खबर पसंद आई तो इसे शेयर करना न भूलें, देश-विदेश से जुड़ी ताजा अपडेट पाने के लिए कृपया The Lucknow Tribune के  Facebook  पेज को Like व Twitter पर Follow करना न भूलें... -------------------------
E-Paper