एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज में गायनी ओंकोलाॅजी पर सीएमई आयोजित
बरेली,23 सितम्बर। हमारे देश में महिलाओं को देवी का दर्जा दिया जाता है। उन्हें शक्ति स्वरूप माना जाता है, लेकिन उनके स्वास्थ्य के प्रति उतनी ही लापरवाही है। पुरुष तो उनके स्वास्थ्य के प्रति असंवेदनशील हैं ही खुद महिलाएं भी इसके लिए लापरवाह हैं। यही वजह है कि कैंसर जैसी महामारी महिलाओं में तेजी से फैल रही है। चाहें वह सर्वाइकल कैंसर हो या ब्रेस्ट कैंसर। इससे ग्रसित महिलाओं की संख्या तेजी से बढ़ रही है। इसे रोकने के लिए महिलाओं और पुरुषों दोनों को लापरवाही छोड़ कर जागरूक होना पड़ेगा। यह बात एसोसिएशन आफ गायनेकोलॉजी ऑंकोलॉजिस्ट ऑफ इंडिया (एजीओआई) की नेशनल प्रेसिडेंट डा.रूपिंदर शेखों ने गायनी ओंकोलाजी सीएमई में कही। सीएमई में देश के नामचीन संस्थानों के कैंसर विशेषज्ञों ने गायनेकोलॉजी ओंकोलॉजी के विभिन्न विषयों पर व्याख्यान दिया।
एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज में कल स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग की ओर से और एसोसिएशन ऑफ गायनेकोलॉजी ऑंकोलॉजिस्ट ऑफ इंडिया (एजीओआई) के सहयोग से गायनी ओंकोलॉजी पर सीएमई आयोजित हुई। बुनियादी बातों पर विचार, ज्ञान शक्ति है थीम पर आयोजित इस सीएमई में देश के नामचीन गायनी ओंको विशेषज्ञों ने व्याख्यान दिया। इसके उद्घाटन सत्र में एसोसिएशन आफ गायनेकोलॉजी ऑंकोलॉजिस्ट आफ इंडिया (एजीओआई) की नेशनल प्रेसिडेंट डा.रुपिंदर शेखों ने महिलाओं में बढ़ते ब्रेस्ट कैंसर और सर्वाइकल कैंसर पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि सरकार भी इसके प्रति संवेदनशील है और महिलाओं को इसकी जानकारी देने के लिए जागरूकता अभियान चला रही है। सर्वाइकल कैंसर रोकने के लिए ह्यूमन पैपिलोमा वायरस वैक्सीन बेहद कारगर है। शीघ्र ही सरकार किशोरियों में इसकी वैक्सीन लगाने के लिए अभियान संचालित करेगी।
एसआरएमएस ट्रस्ट के संस्थापक व चेयरमैन देव मूर्ति जी ने कैंसर के साथ ही महिलाओं में बढ़ते तनाव का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि घर में महिला तनाव में हो तब भी पुरुषों पर कोई फर्क नहीं पड़ता। इस प्रवृत्ति को बदलना होगा। पुरुषों को मानना पड़ेगा कि महिला के बीमार होने पर घर अस्त-व्यस्त हो जाता है। ऐसे में महिलाओं के स्वास्थ्य पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज इसी को ध्यान में रखते हुए जागरूकता अभियान चला रहा है। जिसमें हॉस्पिटल ऑन व्हील्स बस के जरिये घर घर जाकर स्वास्थ्य परीक्षण किया जा रहा है। मैमोग्राफी मशीन लगी होने से घर पर ही महिलाओं की मैमोग्राफी की जा रही है। एसआरएमएस ने चार हेल्थ एटीएम भी स्थापित किए हैं जहां मात्र 50 रुपये में 21 तरह की स्वास्थ्य जांचें की जा रही हैं। मेडिकल कालेज की ओर से लोगों की हेल्थ कुंडली भी बनाई जा रही है। इसके लिए हमारी टीम हर ब्लाक में जा रही है और लोगों का स्वास्थ्य परीक्षण कर रजिस्ट्रेशन कर रही है। हमने इस वर्ष मोतियाबिंद के दस हजार ऑपरेशन निशुल्क करने का बीड़ा उठाया है। इसके लिए भी काम चल रहा है।
उद्घाटन समारोह में इससे पहले सीएमई की ऑर्गनाइजिंग चेयरपर्सन डॉ.शशिबाला आर्य ने सभी अतिथियों और डेलीगेट्स का स्वागत किया और गायनी ओंकोलॉजी सीएमई की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि महिलाओं की सबसे ज्यादा मौतों की वजह कैंसर हैं। चाहें वह ब्रेस्ट कैंसर हो या सर्वाइकल कैंसर या कुछ और। इनका इलाज उपलब्ध है लेकिन इसके लिए जागरूक होना ज्यादा जरूरी है। एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल एयर मार्शल (सेवानिवृत्त) डा.एमएस बुटोला ने कॉलेज की उपलब्धियों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि विश्वस्तरीय उपकरणों और अनुभवी कैंसर विशेषज्ञों के होने से एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड का मुख्य कैंसर सेंटर बन चुका है। यहां पर ओंकोलॉजी से संबंधित सभी प्रोसीजर किए जा रहे हैं। उद्घाटन समारोह के अंत में सीएमई के ऑर्गनाइजिंग सेक्रेटरी डॉ.मनोज कुमार टांगड़ी ने सभी का आभार जताया और धन्यवाद प्रस्ताव रखा। उद्घाटन सत्र का संचालन डा.आयुषी शुक्ला ने किया। इस मौके पर एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज के डायरेक्टर एडमिनिस्ट्रेशन आदित्य मूर्ति, सीएमई के ऑर्गनाइजिंग चेयरपर्सन डॉ.पियूष कुमार, मेडिकल सुपरिटेंडेंट डॉ.आरपी सिंह, एसोसिएशन ऑफ गायनेकोलॉजी ऑंकोलॉजिस्ट आफ इंडिया की वाइस प्रेसीडेंट व केजीएमसी लखनऊ की गायनी ऑंकोलॉजिस्ट डा.निशा सिंह, आर्मी हास्पिटल (रिसर्च एंड रेफरल) नई दिल्ली के एचओडी डॉ.अमूल कपूर, कमांड हास्पिटल लखनऊ के गायनी ऑंको सर्जन डा.राजू अग्रवाल, एसजीपीजीआई लखनऊ की प्रोफेसर (डा.) शालिनी सिंह, आयांश हॉस्पिटल बेंगलुरु के डायरेक्टर डा.पी श्रीनिवास राव, राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट रोहिणी दिल्ली के सीनियर ओंको पैथोलाजिस्ट डा.सुनील पसरीचा, आर्म्ड फोर्सेस मेडिकल कालेज पुणे के डा.संजय शर्मा, आर्मी हास्पिटल (रिसर्च एंड रेफरल) नई दिल्ली के डा.बिक्रम भारद्वाज, आर्मी हास्पिटल (रिसर्च एंड रेफरल) नई दिल्ली के डा.पीआर नेने, सरस्वती मेडिकल कालेज के डा.जेके गोयल, डा.रुचिका गोयल, डा.प्रगति गुप्ता, डा.मृदुला, डीन यूजी डा.बिंदू गर्ग, डीन पीजी डा.रोहित शर्मा, रुहेलखंड मेडिकल कालेज, राजश्री मेडिकल कॉलेज, टीएमयू मेडिकल कॉलेज, वरुण अर्जुन मेडिकल कॉलेज और गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी के डेलीगेट्स और एसआरएमएस मेडिकल कॉलेज के विभागाध्यक्ष और पीजी स्टूडेंट मौजूद रहे। बरेली से अखिलेश चन्द्र सक्सेना की रिपोर्ट